रायगढ़। शिव शक्ति स्टील के खिलाफ मजदूरों ने मोर्चा खोल दिया है। कामगारों ने कम्पनी प्रबंधन पर न केवल शारीरिक और मानसिक, बल्कि आर्थिक रूप से प्रताडि़त करने का आरोप लगाते हुए कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपकर इंसाफ की गुहार लगाई है।
सोमवार सुबह कलेक्ट्रेट में काफी संख्या में मजदूर पहुंचे और अपनी हक की लड़ाई को लेकर वे जिलाधीश श्रीमती रानू साहू से मुलाकात के लिए इंतजार करने लगे। दरअसल, ये श्रमिक कोई और नहीं, बल्कि ग्राम चुनचुना स्थित शिव शक्ति स्टील प्रायवेट लिमिटेड के वे कामगार निकले जो अपने प्रबंधन की शिकायत लेकर पहुंचे थे। मजदूरों का फैक्ट्री प्रबंधन पर आरोप लगाया है कि किसी भी मजदूरों को छूटटी नही दी जाती और बिना पूछे छूटटी पर जाने के एवज में काम पर निकाल दिये जाने की धमकी भी दी जाती है।
मजदूरों की माने तो शिव शक्ति में काफी संख्या में श्रमिक कई सालों से कार्यरत हैं, परंतु कम्पनी उनको न तो पीएफ देती है और न ही ग्रेच्यूटी का लाभ। वहां लंबे समय से मजदूर दैनिक वेतनभोगी की तरह अपना खून-पसीना बहाते हैं, मगर बीमार होने पर उन्हें छूटटी तक नहीं दी जाती है। ऐसे में जब कोई मजदूर किसी एमरजेंसी हालात में काम काम पर नहीं पहुंचता तो उसे काम से बाहर निकाल दिया जाता है। वहां श्रम कानून का खुले आम उल्लंधन करने से कम्पनी प्रबंधनबाज नहीं आती।
मजदूरों ने कलेक्टर के नाम दिए ज्ञापन में बताया कि कई बार उनको काम से बाहर निकालनें के लिये कोरे कागज तक में हस्ताक्षर करा लिया जाता है। नतीजतन, फैक्ट्री में कार्यरत मजदूर अब भय के साये में काम करने मजबूर हैं। खासकर मजदूर साप्ताहिक छूटटी को लेकर मानसिक रूप से हलाकान और परेशान हैं। साथ ही मानसिक रूप से दबाव डालने के लिये उनसे 12-12 घंटे अतिरिक्त काम लिया जाता है। यही वजह है कि शिवशक्ति प्लांट प्रबंधन के विरुद्ध कामगारों को अब जिला प्रशासन से ही न्याय की आस है।
