परिजनों का आरोप-सिर में चोट लगने से गई जान, घटना की हो निष्पक्ष जांच
रायगढ़। शहर के रेलवे बंगला पारा में एक मकान में ढलाई के दौरान संदिग्ध परिस्थितियों में खून की उल्टी करते हुए राजमिस्त्री की मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि सिर में चोट लगने से राजमिस्त्री की जान गई है, इसलिए घटना की निष्पक्ष जांच हो। कोतवाली पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराया है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक स्थानीय रेलवे बंगला पारा में शारदा साव का मकान निर्माण हो रहा है। जोरापाली के भागीरथी सिदार ने मकान बनाने का ठेका लिया है और समीपस्थ ग्राम धनागर निवासी राजमिस्त्री मोहित लाल उरांव (65 वर्ष) पिछले 5 रोज से शारदा के निर्माणाधीन मकान में सेंटिंग प्लेट बांधते हुए ढलाई की तैयारी करवा रहा था। रविवार दोपहर लगभग 3 बजे ढलाई के दौरान अचानक मोहित की तबीयत खराब होते ही वह खून की उल्टी करने लगा। बुजुर्ग मिस्त्री को संदिग्ध परिस्थितियों में खून की उल्टी कर अधमरा होते देख कामगार मौके की नजाकत को भांप इसकी सूचना ठेकेदार भागीरथी सिदार को देते हुए मोहित को जिला अस्पताल लेकर गए तो डॉक्टर्स ने प्राथमिक जांच में ही उसे मृत घोषित कर दिया। वृद्ध मिस्त्री की लाश को मर्च्यूरी रूम में रखते हुए सोमवार सुबह पुलिस ने पोस्टमार्टम की कार्रवाई कराई।
वहीं, मृतक के शव को देखने के बाद भाई प्रेमलाल उरांव ने मीडिया को बताया कि मोहित को टीबी की बीमारी थी । यदि खून की उल्टी से उसकी मौत हुई है तो सिर में चोट नहीं होते। प्रेमलाल का दावा है कि मोहित के सिर के पीछे भाग से खून बह रहा था यानी चोट लगने से उसकी मृत्यु हुई है, इसलिए घटना की निष्पक्ष जांच की मांग भी उसने उठाई। फिलहाल, पोस्टमार्टम के बाद शव को अंतिम संस्कार के लिए उरांव परिवार को सौंप दिया गया है। दूसरी तरफ नगर कोतवाल शनिप रात्रे बताते हैं कि वार्डब्वॉय पद्मलोचन यादव की तहरीर पर कोतवाली पुलिस मर्ग कायम करते हुए पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने का इंतजार कर रही है, ताकि खुलासा हो सके कि मोहित की मौत सिर में चोट लगने से हुई या असल कारण कुछ और है।
