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Home | Raigarh News : नकली कीटनाशक दवा बेचने वालों के खिलाफ होगी FIR, डीडीए ने पुलिस को भेजा मामला, लाखों का हो चुका है वारा-न्यारा, छातामुड़ा चौक के पास एक मकान में पकड़ा था नकली सामान

Raigarh News : नकली कीटनाशक दवा बेचने वालों के खिलाफ होगी FIR, डीडीए ने पुलिस को भेजा मामला, लाखों का हो चुका है वारा-न्यारा, छातामुड़ा चौक के पास एक मकान में पकड़ा था नकली सामान

रायगढ़। मल्टीनेशनल कंपनी बायर के नकली प्रोडक्ट बनाकर बेचने वाले गिरोह के सरगना तक पहुंचने के लिए कृषि विभाग ने पुलिस की मदद ली है। नकली पाउडर और रैपर पकड़े जाने के बाद अब उस मकान मालिक के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने प्रतिवेदन पुलिस को सौंपा गया है। पिछले 17 नवंबर को सुभाष सोनी सहायक संचालक कृषि, उसत पटेल जिला कीटनाशी निरीक्षक, संजय सिदार ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी सहित टीम ने अटल चौक से करीब 500 मीटर दूर रायगढ़-सारंगढ़ रोड में मदन प्रसाद वल्द महादेव प्रसाद के मकान में छापा मारा था। यहां पर बायर क्रॉप साइंस लिमिटेड कंपनी के उत्पाद नेटिवो कीटनाशक के भरे हुए और खाली पैकेट बरामद किए।

चार बोरों में पाउडर भरा हुआ था जो इन पैकेटों में डालकर पैकिंग की जा रही थी। 500 ग्राम के भरे हुए 2171 पैकेट, 250 ग्राम पैकिंग के भरे हुए 511 पैकेट, 190 किलो खुले बोरे में केमिकल पाउडर एवं एक पैकिंग मशीन जब्त किया गया। साथ ही 250 ग्राम के 4000 पैकेट और 500 ग्राम के 1800 खाली पैकेट भी जब्त किए गए जो ओरिजिनल की तरह ही दिख रहे थे। बायर कंपनी मूलत: जर्मनी की है जिसका पैकेजिंग प्लांट गुजरात के भरुच में है। इस कंपनी के कीटनाशक बहुत महंगे होते हैं। सौ ग्राम नेटिवो पैकेट की कीमत 1100 रुपए, 250 ग्राम की कीमत 2400 रुपए और 500 ग्राम की कीमत 4600 रुपए होती है। इसलिए रायगढ़ के एक कारोबारी ने किसानों को ठगकर लाखों रुपए कमाई का प्लान बनाया था।

मदन प्रसाद पिता महादेव प्रसाद के परिवार को नकली पाउडर को पैकेट में डालकर पैक करने का काम दिया था। कृषि विभाग ने नोटिस देकर इसमें शामिल अन्य लोगों के बारे में पूछताछ की थी लेकिन उसने मुंह नहीं खोला। इसलिए अब उप संचालक कृषि ने जूट मिल टीआई को प्रतिवेदन भेजा है। मदन प्रसाद के विरुद्ध अपराध दर्ज करने का निर्देश है।

कलेक्टर ने एफआईआर कराने का दिया था निर्देश
सारा नकली सामान जब्त करने के बाद कृषि विभाग ने नोटिस देकर जवाब मांगा था। इसके साथ ही प्रकरण कलेक्टर के समक्ष भी प्रस्तुत किया गया था। कलेक्टर ने एफआईआर दर्ज कराने का आदेश दिया था। अब पुलिस ही पूरे गिरोह का नाम उगलवाएगी। बताया जा रहा है कि इसकी जांच प्रारंभ कर दी गई है। रायगढ़ के उस कारोबारी का नाम भी जल्द सामने आएगा।