रायगढ़, 15 फरवरी। ऐसा प्राय: होने लगा है कि अगर किसी प्रोजेक्ट में किसी धार्मिक स्थान की जमीन जाती है तो मुआवजा ही नहीं मिलता। अब एक मामला ऐसा आया है जिसमें जगन्नाथ मंदिर की जमीन का कुछ भाग नहर निर्माण में गई थी। लेकिन मुआवजा अब तक नहीं मिला है। मंदिर समिति का कहना है कि मंदिर की छत से पानी टपकता है। मुआवजा मिलेगा तो मरम्मत कराएंगे। सोमवार को पुसौर के ओड़ेकेरा के निवासी कलेक्टर से शिकायत करने पहुंचे थे। उनका कहना है कि मंदिर के संपत्ति की कुछ भूमि का अधिग्रहण नहर निर्माण के लिए किया गया था।
इसकी मुआवजा राशि मंदिर समिति को अभी तक प्राप्त नहीं हुई है। ओडेकेरा में प्राचीन जगन्नाथ मंदिर है जिसकी बहुत मान्यता है। इसका संचालन गांव के ही श्री जगन्नाथ मंदिर समिति द्वारा किया जाता है। मंदिर की कुछ भूमि पर नहर निर्माण कर लिया गया था। इसका मुआवजा मंदिर समिति को मिलना था। केलो परियोजना विभाग ने अब तक इसकी सुध नहीं ली है। नहर निर्माण प्रोजेक्ट में इस तरह की अनदेखी की गई है। मंदिर समिति को भी चक्कर लगवाए जा रहे हैं। ग्रामवासी अपनी मांग को लेकर सोमवार को कलेक्टर जनदर्शन में पहुंचे।
मंदिर की छत की करानी है मरम्मत
ओडेकेरा में श्री जगन्नाथ मंदिर समिति के भूमि का अधिग्रहण तुरंग एवं कलमी माइनर नहर में किया गया था। इधर मंदिर की छत से पानी टपकने लगा है। मंदिर समिति के अध्यक्ष नेत्रानंद का कहना है कि राशि अब तक प्राप्त नहीं हुई है। मंदिर की छत से पानी टपकने लगा है। अगर मुआवजा मिल जाएगा तो वे मंदिर का जीर्णोद्धार कराएंगे।
