कार हुई क्षतिग्रस्त, खरसिया थाने के पास बड़ा हादसा होते-होते टला
रायगढ़। रायपुर से आने के दौरान पूर्व सांसद नंदकुमार साय की खरसिया थाने के पास खड़ी इनोवा से बाईक सवार दो युवक भिड़ गए। गनीमत रही कि श्री साय अपनी गाड़ी के भीतर थे और उनको खरोंच तक नहीं आई। चूंकि, इस घटना में कार के सामने का हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया, इसलिए शराब पीकर बाईक चलाने वालों को पुलिस पकडक़र थाने ले गई।
सूत्रों के मुताबिक पूर्व सांसद नंदकुमार साय बुधवार दोपहर राजधानी रायपुर से इनोवा से चालक के साथ रवाना हुए और सक्ती में रुके। देर शाम तकरीबन साढ़े 7 बजे सक्ती से निकले श्री साय की गाड़ी के खरसिया प्रवेश करते ही रफ्तार धीरे करनी पड़ी, क्योंकि ट्रकें और भारी वाहनों की लाईन लगी थी। ऐसे में थाने के पास चोढ़ा चौक पहुंचने पर भारी वाहनों की लगातार आवाजाही को देख श्री साय इनोवा को किनारे खड़ी कर अंदर बैठे थे। इस दौरान मोटर सायकिल में सवार दो युवक अचानक भारी वाहनों के काफिले के बीच से निकलते हुए आए और इनोवा को जोरदार टक्कर मार दिया। बाईक सवार जिस तरीके से गिरे और उठकर खड़े होने की कोशिश में थे, उसे देख लगा कि वे शराब के नशे में बाईक चला रहे थे।
गनीमत रही कि जिस समय बाईकर्स ने इनोवा को ठोंका, उस वक्त श्री साय बाहर नहीं, बल्कि अपनी गाड़ी के अंदर थे। लापरवाह युवकों की इस हरकत को देख पूर्व सांसद ने इनोवा से बाहर निकलकर जायजा लिया तो पाया कि उनकी गाड़ी के सामने का हिस्सा क्षतिग्रस्त हो चुका था। वहीं, दोनों युवक सम्हलने की हालत में नहीं थे। चूंकि, यह घटना थाने के नजदीक ही हुआ इसलिए हरकत में आई पुलिस भी तत्काल मौके पर पहुंची और श्री साय का कुशलक्षेम पूछने के बाद दोनों युवकों को थाने ले गई।
नेताजी को रायगढ़ में नहीं मिलती फॉलो गाड़ी
कद्दावर आदिवासी नेता नंदकुमार साय ने केलो प्रवाह से बातचीत के दौरान बताया कि हादसे के बाद वे सुरक्षित हैं। वे जब भी राजधानी या अन्य जगह दौरे पर जाते हैं तो प्रदेश के सभी क्षेत्रों में उनको फॉलो गाड़ी दी जाती है, मगर रायगढ़ एकमात्र ऐसा जिला है, जहां प्रवास के विधिवत सूचना देने के बाद भी कभी फॉलो गाड़ी नहीं मिलती। जबकि पुलिस के उच्चाधिकारियों को उनके आने की खबर होती है। आज अगर श्री साय को खरसिया सीमा में प्रवेश करते ही फॉलो गाड़ी मिलती तो वो उनके वाहन के आगे चलते हुए लोगों को सावधान करता और संभवत: ये घटना नहीं होती।
